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    धनतेरस पर खरीदें ये बर्तन, होंगे ये लाभ

    धनतेरस कार्तिक मास के कृष्ण त्रयोदशी को मनाया जाता है. इसे हम धन त्रयोदशी के नाम से भी जानते हैं. इस दिन मां लक्षमी और भगवान कुबेर की पूजा की जाती है. इस दिन खरीदारी करना शुभ माना जाता है और खासतौर पर पीतल और चांदी के बर्तन खरीदे जाते हैं. धनतेरस के दिन पूजा का शुभ समय शाम 5:30 बजे से 6:00 बजे तक रहेगा.

    विधि

    धनतेरस कार्तिक मास के कृष्ण त्रयोदशी को मनाया जाता है. इसे हम धन त्रयोदशी के नाम से भी जानते हैं. इस दिन मां लक्षमी और भगवान कुबेर की पूजा की जाती है. इस दिन खरीदारी करना शुभ माना जाता है और खासतौर पर पीतल और चांदी के बर्तन खरीदे जाते हैं. धनतेरस के दिन पूजा का शुभ समय शाम 5:30 बजे से 6:00 बजे तक रहेगा.

    ऐसा कहा जाता है कि धनतेरस के दिन ही भगवान धन्वंतरी समुद्र मंथन के दौरान पीतल का अमृत कलश लेकर प्रकट हुए थे इसीलिए पीतल खरीदने से घर में सौभाग्य आता है और स्वास्थ्य भी अच्छा रहता है.

    आप खाने-पीने में तेल, मसाले के ज्यादा न होने का तो बहुत ध्यान रखते हैं पर क्या आप जानते हैं कि खाने-पीने के अलावा बर्तनों का भी बहुत महत्व होता है.

    तो आइए हम आपको बताते हैं उन बर्तनों के बारे में जिन्हें खरीदकर आप घर में धन और संपन्नता ला सकते हैं.

    पीतल के बर्तनों को हीट का गुड कंडक्टर माना जाता है यानि इन बर्तनों को गर्म चीजों से कोई नुकसान नहीं होता है. इनका इस्तेमाल पुराने जमाने में बहुत किया जाता था.
    पीतल के बर्तन में खाने का फायदा: पीतल के बर्तन में खाना खाने से कफ और वायुदोष की बीमारी नहीं होती है.

    पीतल के साथ-साथ धनतेरस के दिन चांदी खरीदने की भी मान्यता है. चांदी चन्द्रमा का प्रतीक है जिससे शीतलता मिलती है और मन में संतुष्ट रहता है.
    चांदी के बर्तन में खाने का फायदा: चांदी के बर्तन में भोजन करने से आंतरिक ठंडक मिलती है. दिमाग तेज होता है और यह आंखों के लिए भी बहुत फायदेमंद है. कफ, वायुदोष से पीड़ित लोगों को भी इस बर्तन में भोजन करने से फायदा पहुंचता है.

    स्टील के बर्तन खरीदना भी एक अच्छा विकल्प है, पर इन्हें खरीदते समय एक बात का ध्यान रखें कि ऐसे बर्तन चुने जिनके नीचे कॉपर की लेयर लगी हो इससे इनमें बनने वाले पकवान जैसे दूध , सब्जी आदि नहीं जलेंगे.
    स्टील के बर्तन में खाने का फायदा: स्टील के बर्तन में भोजन करने से कोई भी नुकसान नहीं होता है क्योंकि न तो इनमें गर्म से कुछ होता है और न ही ठंड से.

    क्या न खरीदें:
    धनतेरस के दिन लोहे के बर्तन बिल्कुल न खरीदें, ऐसा करने से घर में लक्ष्‍मी जी नहीं बल्कि दरिद्रता आती है.

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