उत्तरप्रदेश में कुछ ऐसी की जाती है अष्‍टमी की पूजा

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आज अष्‍टमी है. आज के दिन देवी दुर्गा के आंठवे स्वरूप महागौरी की पूजा की जाती है. महागौरी की पूजा के बाद कन्या पूजन की भी परंपरा है. पूरी, हलवा और काला चना एकसाथ 9 कन्याओं को खिलाया जाता है. इसे कन्या पूजन कहते हैं.
आज अष्‍टमी है. आज के दिन देवी दुर्गा के आंठवे स्वरूप महागौरी की पूजा की जाती है. इस दिन देवी को नारियल का भोग लगाया जाता है. मान्यता है कि नारियल का भोग लगाने से घर में सुख-समृद्धि आती है.

महागौरी की पूजा के बाद कन्या पूजन की भी परंपरा है. पूरी, हलवा और काला चना एकसाथ 9 कन्याओं को खिलाया जाता है. इसे कन्या पूजन कहते हैं. कन्या पूजा कहीं अष्‍टमी के दिन तो कहीं नवमी के दिन की जाती है.
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पहले कन्याओं की पूजा की जाती है और फिर उन्हें भरपेट खिलाया जाता है. अष्‍टमी के दिन कन्याओं को खिलाना शुभ माना जाता है. इन्हें नौ देवी का रूप मानकर इनका स्वागत किया जाता है. इनकी पूजा से संतान संबंधी परेशानियों से छुटकारा मिलता है. बता दें कि इस दिन कन्याओं के साथ एक लड़के को भी बिठाने की परंपरा है जिसे लंगूर (हनुमान) का रूप माना जाता है.
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ऐसी होती है कन्या पूजा:
- एक दिन पहले ही कन्याओं को आमंत्रित कर दिया जाता है. पूरे परिवार के साथ पुष्प वर्षा कर कन्याओं का घर में स्वागत किया जाता है.
- उनके पैरों को थाली में रखकर धुलवाया जाता है और फिर एक-एक कर सबके पैर छुए जाते हैं.
- इसके बाद चावल, कुमकुम और फूल से उनकी पूजा की जाती है.
- पूजा के बाद सभी को भोजन करवाकर उन्हें उपहार भी दिया जाता है और अंत में उन्हें विदा करने से पहले भी दोबारा नौ देवी रूपी कन्याओं से आशीर्वाद लिया जाता है.

अब जानिए क्या बनता है कन्या पूजन के लिए:

कन्या पूजन के दिन कन्याओं को खिलाने के लिए कुछ चीजें खासतौर पर बनाई जाती हैं.
हलवा: इस दिन खास तौर पर सूजी का हलवा बनाने की परंपरा है. काफी सारी घी और काफी सारे ड्राई फ्रूट्स डालकर इसे बनाया जाता है.
पूरी: कन्याओं को गर्मागर्म पूरियां तलकर खिलाईं जाती है. पूरियां गेंहू के आटे की ही बनी होती हैं.
चने: पूरी के साथ बिना प्याज और लहसुन वाले काले चने बनाए जाते हैं. आप इसमें धनिया पाउडर, लाल मिर्च पाउडर और सादा नमक डाल सकते हैं.