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    फास्ट फूड खाने से किशोर हो गया अंधा, सुनाई भी दे रहा कम

    एक किशोर को फास्टफूड खाना महंगा पड़ गया. उसकी आंखों की रोशनी चली गई और उस पर बहरा होने का खतरा भी मंडरा रहा है. यह किशोर ब्रिटेन का है और उसकी उम्र 17 साल है. बताया जाता है कि इस किशोर ने पिछले 10 साल से चिप्स, बर्गर, फ्रेंच फ्राइज और सॉसेस के अलावा कुछ भी नहीं खाया. वह इन्हीं चीजों पर निर्भर था और उसने 7 साल से घर का खाना छोड़ दिया था. यह खबर दी टेलीग्राफ में छपी है.

    विधि

    एक किशोर को फास्टफूड खाना महंगा पड़ गया. उसकी आंखों की रोशनी चली गई और उस पर बहरा होने का खतरा भी मंडरा रहा है. यह किशोर ब्रिटेन का है और उसकी उम्र 17 साल है. बताया जाता है कि इस किशोर ने पिछले 10 साल से चिप्स, बर्गर, फ्रेंच फ्राइज और सॉसेस के अलावा कुछ भी नहीं खाया. वह इन्हीं चीजों पर निर्भर था और उसने 7 साल से घर का खाना छोड़ दिया था. यह खबर दी टेलीग्राफ में छपी है.

    सब्जी-फलों को पहचान भी नहीं पाता किशोर
    किशोर की बीमारी का पता तब चला जब उसे हॉस्पिटल ले जाया गया. दरअसल, किशोर स्कूल में प्राइमरी तक पढ़ा था. उसकी मां उसके लंच बॉक्स में सैंडविच, सेब और कुछ फल रखती थी, लेकिन वह वैसे का वैसा ही ले आता था. जबकि उसके भाई-बहन लंच बॉक्स खत्म करके आते थे. किशोर की इस हरकत पर शुरुआती तौर पर किसी ने ध्यान नहीं दिया था, लेकिन जब किशोर 14 साल का हुआ तो उससे सुनने में थोड़ी तकलीफ होने लगी. हालांकि इस पर भी किसी ने ध्यान नहीं दिया. ब्रिस्टल चिड्रन अस्पताल के आई स्पेशिस्ट डेनाइज एटन ने बताया कि यह अपने आप में अनोखा मामला है. उन्होंने बताया कि टेस्ट में लड़के के खान-पान में सिर्फ जंक फूड आयटम्स ही पाए गए. हैरान करने वाली बात यह है कि किशोर को फल-सब्जियों के साथ और रंग के बारे में भी कुछ नहीं पता है. उन्होंने 10 सालों तक सिर्फ चिप्स और प्रिंगल्स ही खाए थे. जिससे उसे अवॉइडेंट-रिस्ट्रिक्टिव फूड इंटेक डिस्ऑर्डर हो गया. सामान्य भाषा में यह बीमारी किसी भी चीज को जरूरत से ज्यादा खाने पर होती है.

    ईटिंग डिस्ऑर्डर का गंभीर खतरा
    डॉक्टर्स की माने तो प्रोसेस्ड फूड में शुगर और कार्बोहाइड्रेट की मात्रा ज्यादा होने से किशोर की सुनने में कमजोरी आई और उसकी हड्डियां भी कमजोर होती चली गईं. ईटिंग डिस्ऑर्डर के कारण किशोर यह स्थिति हुई है जो इस उम्र के बच्चों में नहीं होती है. हालांकि उसे विटामिन सप्लीमेंट दिए पर कोई फायदा नहीं हुआ. इसका असर यह हुआ कि किशोर के आंखों के बीच ब्लाइंड स्पॉट बन गए है और ऑप्टिव नर्व के फाइबर भी काम नहीं कर रहे हैं. जिससे उसकी आंखों की रोशनी चली गई है और दोबारा अब नहीं देख सकेगा.

    देख-सुन नहीं पाएगा किशोर
    मेंटल हेल्थ निगरानी वाले डॉक्टरों ने पाया कि ज्यादा फास्टफूड खाने से किशोर के शरीर में विटामिन 12B की कमी हो गई है. उसके शरीर में कॉपर, सेलेनियम और विटामिन D की मात्रा बहुत कम हो गई है. आंखों को ब्रेन से जोड़ने वाली नर्व को नुकसान होने से देखने-सुनने की क्षमता कम होते जाती है.

    आपको क्या करना चाहिए
    इस स्टोरी से पता चलता है कि बच्चों के खान-पान पर ध्यान देने की कितनी जरूरत है. किसी भी चीज की अति अच्छी नहीं मानी जाती है. इसलिए बच्चों को फास्ट फूड खाने की आदत कम ही डालें. हो सके तो उन्हें घर पर ही ऐसी चीजें बनाकर दें. क्योंकि बाहर बने फास्ट फूड में बहुत सारी ऐसी चीजें पड़ी होती हैं जो स्वाद तो बढ़ाती हैं लेकिन यह शरीर को नुकसान भी पहुंचा सकती हैं. फास्ट फूड से बेहतर होगा बच्चों को घर के खाने पर जोर दें. उन्हें कम उम्र से ही बताना शुरू कर दें कि क्या खाना अच्छा है और क्या नहीं. हो सके तो माता-पिता को भी फास्ट फूड कम खाना चाहिए. इसका असर बच्चों पर भी पड़ेगा.

     

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